दिव्य अश्मरीहर क्वाथ
दिव्य अश्मरीहर क्वाथ गुर्दे की पथरी को गलाने और उसे बाहर निकालने में भी यह औषधि सहायक हैं। यह औषधि पाषाणभेद, गोखुरू, पुनर्नवमूल, कुल्थी और वरुणाचाल के मिश्रण से बनाई गयी हैं। जिन लोगो को मूत्र सम्बंधित रोग हैं, उन रोगियों को नियमित रूप से इसका सेवन करने से राहत मिलती हैं। यह औषधि एक पाउडर के रूप में मिलती हैं जिसका काढ़ा बना कर सेवन किया जाता हैं। गुर्दे से सम्बंधित किसी भी रोग में इसका सेवन करने से लाभ होता हैं।
Contents
दिव्य अश्मरीहर क्वाथ के घटक
दिव्य अश्मरीहर क्वाथ निम्नलिखित घटको का मिश्रण हैं:-
घटक द्रव्य | मात्रा |
पाषाणभेद | 15 ग्राम |
गोखुरू | 12 .5 ग्राम |
पुनर्नवमूल | 10 ग्राम |
कुल्थी | 12 .5 ग्राम |
वरुणछाल | 40 ग्राम |
दिव्य अश्मरीहर क्वाथ के लाभ एवं उपयोग
पथरी को बाहर निकलने में सहायक
दिव्य अश्मरीहर क्वाथ कुदरती तरीके से पथरी को गलाता हैं और उसे मूत्र की सहायता से शरीर के बाहर निकलने में सहायता करती हैं, इसके लिए नियमित रूप से इसका सेवन करना चाहिए।
किडनी के लिए लाभदायक
यह औषधि किडनी से संबंधी किसी भी रोग के लिए फायदेमंद हैं और इस तरह से यह शरीर की गंदगी को बाहर निकलने का काम भी करता हैं।
गुर्दे के संक्रमण को रोकता हैं
यह औषधि गुर्दे के संक्रमण को रोकता हैं इसकी जड़ी-बूटियां गुर्दे की कोशिकाओं का पोषण करती हैं और साथ ही सूजन को भी कम करती हैं। अगर किसी को मूत्र से सम्बंधित समस्याएं हो जैसे जलन, खारिश और दर्द इन लक्षणों में भी इसका सेवन किया करना चाहिए, परेशानियों से छुटकारा मिलता हैं।
दिव्य अश्मरीहर क्वाथ शरीर में होने वाली किसी भी तरह की सूजन को कम करता हैं और शरीर की इम्मयूमिटी को बढ़ने में भी सहायक हैं।
औषधीय मात्रा निर्धारण एवं व्यवस्था
400 मिलीलीटर पानी में पञ्च से दस ग्राम दिव्य अश्मरीहर क्वाथ पाउडर डालें और उसे पकाएं, इसे तब तक पकाएं जब तक की यह मिश्रण 100 मिलीलीटर न हो जाये। अब इस मिश्रण को छान लें और इसका सेवन करें। इसका सेवन दिन में दो बार करना चाहिए 1) सुबह उठ कर खाली पेट 2) दोपहर के खाने के चार-पॉँच घंटे बाद खाली पेट इसको पियें।
दुष्प्रभाव
दिव्य अश्मरीहर क्वाथ जड़ी-बूटियों से बनायीं हुई पूरी तरह से हर्बल औषधि हैं और इसका कोई साइड इफ़ेक्ट नही हैं, अच्छे परिणामो के लिए दी हुई मात्रा के अनुसार इसका नियमित रूप से सेवन करना चाहिए फिर भी अगर कोई समस्या हो तो डॉक्टर की सलाह लेना अनिवार्य हैं। यह सलाह दी जाती हैं की दिव्य अश्मरीहर क्वाथ के साथ कैल्शियम से भरपूर खाना या प्रदार्थ नही खाने चाहिए, इसकी जगह बहुत से तरल प्रदार्थो का सेवन करने की सलाह दी जाती हैं
पूर्वोपाय
- जितना अधिक हो सके पानी पिए, पानी शरीर की गंदगी को बाहर निकलता हैं और साथ ही साथ कई बीमारियों से मुक्ति प्रदान करता हैं।
- किडनी की बीमारियों से बचने के लोए अधिक बीजो वाली सब्जिया जैसे बैंगन ,टमाटर का सेवन कम करना चाहिए।
- कसरत और योग बीमारियों से बचने का सबसे बेहतर तरीका हैं।